
देवघर: मंईयां सम्मान योजना समेत अन्य सरकारी योजनाओं का लाभ दिलाने के नाम पर साइबर ठगी करने वाले एक गैंग का देवघर पुलिस ने भंडाफोड़ किया है. इस सिलसिले में साइबर थाना पुलिस ने कुंडा थाना क्षेत्र के पहरीडीह औद्योगिक केंद्र के पास छापेमारी कर 11 साइबर ठगों को गिरफ्तार किया है. इनके पास से 11 मोबाइल और 15 सिम कार्ड बरामद किए गए हैं. इनमें से चार मोबाइल नंबर पहले से प्रतिबिंब एप में शिकायत के तौर पर दर्ज हैं.
गिरफ्तार आरोपियों की सूची
पकड़े गए आरोपियों में जितेंद्र दास (दुधवाजोरी, सारठ), महताब अंसारी (कुरुवा, सोनारायठाढ़ी), डीसी दास (सरपत्ता, सारवां), रामचंद्र दास, श्रीकांत दास (दोनों केनवरिया, करौं), निपु दास (चरघरा, सारवां), मसरूद्दीन अंसारी (लखीबाद, पालोजोरी), विजय दास, मिथुन दास, मुकेश दास (तीनों लेड़वा, पाथरोल), धनंजय दास (खैरवा, सारवां) शामिल हैं. यह गिरोह पांच अलग-अलग तरीके से साइबर ठगी की वारदातों को अंजाम देता था.
ठगी के तरीके
साइबर ठग सरकारी पदाधिकारी बनकर लोगों को मंईयां सम्मान योजना, किसान समृद्धि योजना जैसी सरकारी योजनाओं का लाभ दिलाने का झांसा देकर ठगी करते थे. इसके अलावा, एसबीआई क्रेडिट कार्ड, टाटा कार्ड जैसे अन्य वित्तीय उत्पादों का फर्जी लिंक भेजकर ग्राहकों से क्रेडिट कार्ड की डिटेल्स हासिल कर ठगी की वारदातों को अंजाम दिया जाता था. इसके अतिरिक्त, एसबीआई के ग्राहकों से केवाईसी अपडेट के नाम पर कार्ड नंबर, सीवीवी, एक्सपायरी डेट और ओटीपी जैसी जानकारी हासिल की जाती थी. ठग फोन-पे, पेटीएम और कस्टमर केयर के अधिकारी बनकर भी लोगों को कैशबैक का झांसा देकर उनकी पैसे चोरी करते थे.
ठगों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी
देवघर पुलिस ने इन ठगों के खिलाफ सख्त कार्रवाई का आश्वासन दिया है और उनकी गिरफ्तारी से इलाके में साइबर अपराध पर नियंत्रण की उम्मीद जताई है. पुलिस ने लोगों से अपील की है कि वे किसी भी सरकारी योजना का लाभ लेने के नाम पर किसी अनजान कॉल या लिंक पर अपनी निजी जानकारी न दें और किसी भी संदेहास्पद गतिविधि की सूचना तुरंत पुलिस को दें.
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