Chaiti Chhath 2025: चैती छठ महापर्व शुरू, नहाय-खाय आज, बढ़ती गर्मी से व्रतियों के लिए चुनौतीपूर्ण होगा यह पर्व

Spread the love

जमशेदपुर: लोक आस्था के महापर्व चैती छठ का शुभारंभ आज मंगलवार को नहाय-खाय के अनुष्ठान से हो रहा है. यह चार दिवसीय पर्व शुद्धता, साधना और सूर्योपासना का प्रतीक है, जिसमें हर नियम का पालन अत्यंत श्रद्धा और पवित्रता के साथ किया जाता है.

नहाय-खाय का महत्व

छठ व्रती इस दिन गंगा या किसी पवित्र नदी में स्नान कर नहाय-खाय की प्रक्रिया पूरी करती हैं. प्रसाद के रूप में अरवा चावल, चने की दाल और कद्दू की सब्जी ग्रहण की जाती है. इसे ‘कद्दू-भात’ के नाम से भी जाना जाता है. प्रसाद पूरी शुद्धता से बनाया जाता है और पूजा-अर्चना के बाद परिवारजन एवं मित्रों के साथ ग्रहण किया जाता है.

खरना का विशेष महत्व

बुधवार, 2 अप्रैल को छठव्रती खरना करेंगी. इस दिन व्रती पूरे दिन उपवास रखती हैं और शाम को गंगाजल, दूध, गुड़ से बनी खीर और रोटी का प्रसाद ग्रहण करती हैं. खरना के बाद छठव्रती अगले 36 घंटे का कठिन निर्जला व्रत शुरू करती हैं, जिसमें जल ग्रहण करने की भी मनाही होती है.

36 घंटे का कठिन उपवास

गुरुवार को व्रती डूबते सूर्य को अर्घ्य देंगी और शुक्रवार को उगते सूर्य को अर्घ्य देने के बाद यह कठिन व्रत समाप्त करेंगी. इस बार बिहार में बढ़ते तापमान के कारण व्रती के लिए यह उपवास और भी चुनौतीपूर्ण होगा, क्योंकि इस पर्व में पानी तक पीने की अनुमति नहीं होती.

शुद्धता और तपस्या का पर्व

छठ महापर्व सिर्फ व्रत और पूजा का अनुष्ठान नहीं, बल्कि आत्मसंयम और शुद्धता की गहन साधना भी है. यह पर्व लोक आस्था का प्रतीक है, जिसमें सूर्योपासना के माध्यम से प्रकृति और जीवन के प्रति कृतज्ञता प्रकट की जाती है.

 

इसे भी पढ़ें : Chaiti Chhath 2025: छठ महापर्व का ऐतिहासिक और सांस्कृतिक महत्व, क्यों है छठ पूजा भारतीय समाज में खास? 


Spread the love

Related Posts

Potka: पोटका में पारंपरिक शिव गाजन और छऊ की रंगभरी रास, विधायक सरदार भी बने सहभागी

Spread the love

Spread the loveपोटका: पोटका प्रखंड के हल्दीपोखर में पारंपरिक शिव गाजन पूजा और छऊ नृत्य का आयोजन पूर्व वर्षों की भांति भव्य रूप से सम्पन्न हुआ. रविवार को हुए इस…


Spread the love

Vrindavan: भक्ति भूमि पर अपराध का साया, वृंदावन में एक ही दिन में 10 महिला चोर गिरफ्तार

Spread the love

Spread the loveवृंदावन: कृष्ण भक्ति की नगरी वृंदावनधाम में आस्था के नाम पर आने वाले श्रद्धालुओं की सुरक्षा पर बड़ा सवाल खड़ा हो गया है. 24 मई से 1 जून…


Spread the love

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *