
जमशेदपुर: केंद्रीय ट्रेड यूनियनों एवं स्वतंत्र फेडरेशनों का संयुक्त मंच, कोल्हान द्वारा आज टिनप्लेट यूनियन कार्यालय में बैठक आयोजित की गई. इस बैठक की अध्यक्षता राकेश्वर पांडेय ने की. बैठक में ट्रेड यूनियनों के संयुक्त मंच ने केंद्रीय बजट की निंदा की और इसे देश के मजदूर वर्ग की चिंताओं को नजरअंदाज कर लूट को बढ़ावा देने वाला एक भ्रामक प्रयास बताया.
बजट का विरोध
संयुक्त मंच ने 5 फरवरी 2025 को देशभर में इस मजदूर विरोधी, जनविरोधी, राष्ट्र विरोधी बजट के खिलाफ सामूहिक विरोध प्रदर्शन का आह्वान किया. उन्होंने कहा कि यह बजट नवउदारवादी ताकतों के हितों को बढ़ावा देता है. 5 फरवरी को दोपहर 12 बजे साकची बिरसा चौक पर विशाल विरोध प्रदर्शन आयोजित किया जाएगा, जिसमें बजट प्रस्तावों की प्रतियां जलाई जाएंगी.
सरकार की नीतियों पर सवाल
संयुक्त मंच ने बजट प्रस्ताव 2025-26 को जनता के साथ विश्वासघात और राष्ट्रीय अर्थव्यवस्था को लूटने का खाका बताया. उन्होंने चार श्रम संहिताओं (LABOUR CODES) को लागू करने की पहल के खिलाफ भी विरोध प्रदर्शन करने का निर्णय लिया. बजट प्रस्तावों का उद्देश्य केवल निजीकरण को बढ़ावा देना और कृषि को कॉर्पोरेट के हाथ में सौंपना है.
मांगों का ब्योरा
केंद्रीय ट्रेड यूनियनों ने बजट में किसानों के लिए वैधानिक एमएसपी, शहरी रोजगार गारंटी योजना, सार्वजनिक और सरकारी क्षेत्र में रोजगार सृजन के लिए ठोस कदम, असंगठित और अनुबंधित श्रमिकों के लिए सामाजिक सुरक्षा की सुनिश्चितता की मांग की. साथ ही, ईपीएफ के तहत पेंशन में बढ़ोतरी और पेट्रोलियम उत्पाद शुल्क दरों में कटौती की भी कोई घोषणा नहीं की गई है.
संबोधन में सक्रियता
बैठक में कई प्रमुख नेताओं ने अपने विचार व्यक्त किए, जिनमें राकेश्वर पांडे, विश्वाजीत देब, संजय कुमार, नागराजू, अंबुज कुमार ठाकुर, हीरा अरकाने, धनंजय शुक्ला, विक्रम कुमार सिंह, बिनोद राय, परविंदर सिंह सोहल, मनोज कुमार सिंह, श्रीकांत सिंह, अंजनी कुमार, उषा सिंह, रश्मि कुमारी, प्रिया महतो, मनीष कुमार, निरंजन महापात्र, संग्राम किशोर दास, राजीव कुमार सिंह आदि शामिल थे. इस तरह, यह बैठक एकजुटता के साथ आगामी विरोध कार्यक्रम के लिए तैयारियों की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम साबित हुई.
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