- चांडिल के भादुडीह पंचायत मुखिया बोले- स्थानीय प्रतिनिधियों और ग्रामीणों को दरकिनार किया गया
- 16 किलोमीटर मैराथन में देशभर से आए प्रतिभागी, 4200 धावकों ने लिया हिस्सा
- छल-प्रपंच का आरोप, ग्राम प्रधान बोले- स्थानीय प्रतिभागियों को मौका नहीं मिला
- ग्राम प्रधान ने कहा- बाहरी धावकों को तरजीह, स्थानीय युवाओं के साथ अन्याय
सरायकेला : दलमा तराई के चांडिल प्रखंड के भादुडीह पंचायत के मुखिया बुड्ढेश्वर बेसरा ने रन फॉर गजराज दलमा मैराथन को लेकर वन विभाग पर गंभीर आरोप लगाए हैं। रविवार को चाकुलिया मोड़ पर आयोजित संवाददाता सम्मेलन में उन्होंने कहा कि दलमा वन्य प्राणी आश्रयणी की पहचान गजराज और अन्य जीव-जंतुओं की सुरक्षा एवं पर्यावरण संरक्षण के उद्देश्य से आयोजित मैराथन में स्थानीय लोगों की घोर उपेक्षा की गई। यहां तक कि दलमा इको-सेंसिटिव जोन के अंतर्गत आने वाले पंचायतों के मुखिया और जनप्रतिनिधियों को भी आमंत्रित नहीं किया गया। उन्होंने कहा कि यह पांचवीं अनुसूची क्षेत्र है और सभी मुखिया आदिवासी हैं, ऐसे में यह वन विभाग द्वारा आदिवासियों की उपेक्षा का स्पष्ट उदाहरण है। उन्होंने चेतावनी दी कि आने वाले समय में दलमा अंचल के ग्रामीण विभाग की मनमानी का विरोध करेंगे।
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मुखिया बोले- दलमा के असली हितधारकों को किया गया नजरअंदाज
झारखंड सरकार का वन विभाग एवं जलवायु परिवर्तन विभाग, टाटा स्टील जियोलॉजिकल सोसाइटी के संयुक्त तत्वावधान में रविवार को आयोजित रन फॉर गजराज दलमा मैराथन 16 किलोमीटर लंबी दौड़ थी। इसमें झारखंड सहित बिहार, उत्तरप्रदेश, राजस्थान, ओड़िशा और पश्चिम बंगाल के लगभग 4200 धावकों ने हिस्सा लिया। इस मौके पर मुख्य अतिथि विधायक सविता महतो और उपायुक्त नितीश कुमार सिंह मौजूद थे। उन्होंने दौड़ शुरू होने से पहले प्रतिभागियों का उत्साह बढ़ाया। मौके पर दलमा डीएफओ सबा आलम अंसारी, दलमा रेंज ऑफिसर दिनेश चंद्रा और चांडिल रेंज ऑफिसर शशि रंजन प्रकाश भी मौजूद थे।
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उत्तरप्रदेश के धावकों ने मारी बाजी, 12 में 10 स्थानों पर किया कब्जा
मैराथन प्रतियोगिता में महिला और पुरुष वर्ग में उत्तरप्रदेश के धावकों का दबदबा रहा। महिला वर्ग में प्रथम स्थान अंशिका पटेल, द्वितीय वंदना, तृतीय बबिता कुमारी (सभी बनारस, उत्तरप्रदेश) रहीं। चौथा स्थान गोरखपुर की पूनम निषाद और पांचवा स्थान बनारस की अंजलि पटेल ने हासिल किया। पुरुष वर्ग में प्रथम स्थान लखनऊ के रवि कुमार पाल, द्वितीय रोहित सरोज, तृतीय अक्षय कुमार और चतुर्थ गणेश कुमार (सभी उत्तरप्रदेश) रहे। राजस्थान के मुकेश कुमार पांचवे, मेरठ के अक्ष कुमार छठे और झारखंड के बबलू सिंह सातवें स्थान पर रहे। इस नतीजे ने स्थानीय प्रतिभागियों और जनप्रतिनिधियों में असंतोष को और बढ़ा दिया।
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प्रतियोगिता में स्थानीय प्रतिभागी रहे पीछे, ग्रामीणों ने जताई नाराजगी
काठजोड़ गांव के ग्राम प्रधान आनंद सिंह ने आरोप लगाया कि रन फॉर गजराज दलमा मैराथन में छल-प्रपंच कर बाहरी राज्यों के प्रतिभागियों को विजयी बनाया गया। उनका कहना था कि जब कार्यक्रम का उद्देश्य दलमा वन्य प्राणी आश्रयणी के हाथी, जंगल और पर्यावरण की सुरक्षा बताई गई, तो इसमें चांडिल, नीमडीह, बोड़ाम और पटमदा प्रखंड के स्थानीय प्रतिभागियों को प्राथमिकता दी जानी चाहिए थी। लेकिन वन विभाग ने दोहरी नीति अपनाते हुए बाहरी राज्यों और झारखंड के अन्य प्रखंडों के लोगों को शामिल कर स्थानीय लोगों की अनदेखी की। उन्होंने कहा कि ग्रामीण अब इस अन्याय के खिलाफ जोरदार आंदोलन करेंगे और वन विभाग को जवाब देना होगा।