
देवघर: करीब 42 करोड़ रुपये की लागत से बने बाघमारा इंटर स्टेट बस टर्मिनल (आईएसबीटी) को 10 अप्रैल से चालू कर दिया गया है, लेकिन इसके बावजूद बस संचालक अब भी मोहनपुर मोड़, बैजनाथपुर, सर्कुलर रोड जैसे इलाकों से अवैध रूप से सवारी उठा रहे हैं. इससे शहर में ट्रैफिक जाम की समस्या गहरा रही है.
शनिवार को जिला परिवहन पदाधिकारी (डीटीओ) ने अभियान चलाकर नियमों का उल्लंघन करते पाए गए दो बसों से कुल 21 हजार रुपये जुर्माना वसूला. डीटीओ ने कहा कि स्टैंड से बाहर से बसों का संचालन नियमों के खिलाफ है और आगे भी उल्लंघन करने वालों के विरुद्ध कड़ी कार्रवाई की जाएगी.
नियमों की अवहेलना पर सख्त चेतावनी
जिला परिवहन पदाधिकारी ने स्पष्ट किया कि बसों को अनिवार्य रूप से बाघमारा आईएसबीटी से ही संचालित किया जाना है. संबंधित अधिकारियों और पुलिस पदाधिकारियों को निर्देश दिया गया है कि आदेश का सख्ती से अनुपालन सुनिश्चित कराएं और नियम तोड़ने वालों पर कठोर कार्रवाई करें.
बस हड़ताल ने बढ़ाई यात्रियों की परेशानी
आईएसबीटी चालू होने के साथ ही बस मालिकों ने भी हड़ताल शुरू कर दी है. इससे रोजाना लगभग 20 हजार यात्री और श्रद्धालु बुरी तरह प्रभावित हो रहे हैं. बासुकीनाथ जैसे धार्मिक स्थलों के लिए यात्रियों को टेंपो और ई-रिक्शा से दुगना-तिगुना किराया चुकाना पड़ रहा है क्योंकि नियमित बस सेवा पूरी तरह बंद है.
दुमका, गोड्डा, भागलपुर, मधुपुर, गिरिडीह, रांची और पटना जैसे शहरों से देवघर आने-जाने वाली लगभग 150 बसों का परिचालन अनिश्चितकाल के लिए ठप हो चुका है.
हड़ताल के बावजूद चोरी-छिपे बस संचालन
बस मालिकों का कहना है कि बाघमारा आईएसबीटी शहर से दूर है, जिससे यात्रियों पर अतिरिक्त आर्थिक बोझ पड़ेगा. वे पुराने मीना बाजार बस स्टैंड को यथावत रखने की मांग कर रहे हैं.
इधर, हड़ताल के बीच भी कुछ बस मालिक चोरी-छिपे बसें चला रहे हैं. मोहनपुर मोड़ से दुमका रूट पर नियमित रूप से बसों का संचालन जारी है. इससे जहां कुछ यात्रियों को राहत मिली है, वहीं ट्रैफिक नियमों की खुलेआम अवहेलना भी हो रही है.
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