
22 अगस्त को पक्ष रखने के लिए यूसिल प्रबंधन को भेजा नोटिस
जादूगोड़ा : रिटायर्ड यूसिल कर्मी विद्या शर्मा के सेवा में रहते फर्जी आरोप पर दर्ज शिकायत के आधार पर सालाना वेतन वृद्धि पर रोक से जुड़े मामले में केंद्रीय सहायक श्रमायुक्त सर्वेश कुमार ने संज्ञान लिया है। इस मामले में यूसिल प्रबंधन को नोटिस जारी कर आगामी 22 अगस्त को पक्ष रखने का निर्देश दिया है। केंद्रीय सहायक श्रमायुक्त ने पूर्व यूसिल कर्मी को भी इससे जुड़ा नोटिस भेजा है। इस मामले में विद्या शर्मा की पैरवी झारखंड क्रांतिकारी मजदूर यूनियन के नेता सागर बेसरा केस की पैरवी करेंगे। यहां बताते चले कि कंपनी के तकनीकी निर्देशक मनोज कुमार ने अनुशासन हीनता का झूठा आरोप परोस कर वर्ष 2020 व 2021 में सालाना वेतन वृद्धि पर दो साल तक रोक लगा दी थी। जिसके कारण करीबन तीन लाख की राशि से विद्या शर्मा वंचित हो गए। विद्या शर्मा फरवरी 2025 में सेवानिवृत हो गए। लाभ से जिसके खिलाफ कई बार यूसिल के अध्यक्ष सह प्रबंध निर्देशक से पत्राचार की गई व झूठे आरोपों के आधार पर कारवाई का लिखित विरोध जताया। लेकिन कंपनी ने उनकी मांग मांग को अनसुना कर दिया। कंपनी की इस तरह की फर्जी करवाई का यह पहला मामला नहीं है। कई मजदूरों पर झूठे आरोपों के आधार पर कारवाई कर प्रबंधन ने इस तरह की कार्रवाई की है। जिसके खिलाफ पूर्व कर्मचारी विद्या शर्मा ने केंद्रीय सहायक श्रमायुक्त चाईबासा के समक्ष 10 जुलाई की गुहार लगाई जहां से अगले माह 22 अगस्त को दोपहर 12 बजे सुनवाई की तिथि मुकर्रर की गई है।
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