
चाईबासा: गुवा अयस्क खदान क्षेत्र के ग्रामीणों को स्वच्छ पेयजल उपलब्ध कराने के उद्देश्य से जल मीनार परियोजना का कार्य तीव्र गति से आरंभ हो गया है. जीओएम के मुख्य महाप्रबंधक कमल भास्कर के निर्देशन और उप महाप्रबंधक अनिल कुमार की देखरेख में 25 अप्रैल 2025 को बड़ा जामकुंडिया गांव में डीप बोरिंग के माध्यम से जल मीनार परियोजना की नींव रखी गई.
यह परियोजना गुवा खदानों के कॉरपोरेट सामाजिक उत्तरदायित्व (सीएसआर) कार्यक्रम के अंतर्गत क्रियान्वित हो रही है. वित्तीय वर्ष 2024-25 के बजट प्रावधान के अनुसार गुवा क्षेत्र के पांच चयनित सीएसआर गांवों – बड़ा जामकुंडिया, छोटा जामकुंडिया, दुइया, गंगदा और घाटकुरी – में जल मीनार स्थापित किए जाएंगे.
दो महीने में पूरा होगा कार्य, घर-घर पहुंचेगा स्वच्छ जल
डीजीएम (सीएसआर) अनिल कुमार ने बताया कि परियोजना को आगामी दो माह में पूरा करने का लक्ष्य रखा गया है. प्रत्येक गांव में जल मीनार के साथ पाइपलाइन और स्टोरेज टैंक भी लगाए जाएंगे, ताकि प्रत्येक घर तक साफ और सुरक्षित पानी पहुंचाया जा सके.
उन्होंने कहा कि इस पहल से लंबे समय से चली आ रही पेयजल संकट की समस्या का स्थायी समाधान मिलेगा. ग्रामीणों को निर्बाध और सुरक्षित जल आपूर्ति सुनिश्चित करने के लिए सभी आवश्यक तकनीकी और संरचनात्मक उपाय किए जा रहे हैं.
ग्रामीणों में दिखी खुशी, प्रबंधन के प्रयासों की सराहना
जल मीनार परियोजना की शुरुआत से स्थानीय ग्रामीणों में उत्साह और संतोष की लहर दौड़ गई है. ग्रामीणों ने जीओएम प्रबंधन के इस प्रयास की सराहना करते हुए इसे अपने क्षेत्र के विकास की दिशा में एक ऐतिहासिक कदम बताया.
लंबे समय से स्वच्छ पानी की मांग कर रहे ग्रामीण अब इस परियोजना से अपने भविष्य को लेकर आशान्वित नजर आ रहे हैं.
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