
जमशेदपुर: बारिश से नुकसान, जमीन पर कब्जा, पेंशन में देरी, घरेलू हिंसा, राशन कार्ड में नाम जुड़वाने की समस्या हो या स्कूल में दाखिले की चुनौती—ऐसी तमाम शिकायतें लेकर जिलेभर से नागरिक सोमवार को समाहरणालय पहुंचे. मौका था जन शिकायत निवारण दिवस का, जहां उपायुक्त कर्ण सत्यार्थी ने खुद लोगों से सीधे संवाद किया और हर समस्या को गंभीरता से सुना.
बैठक में कुछ शिकायतों का समाधान मौके पर ही कर दिया गया. जिन मामलों में तत्काल हल नहीं निकल सका, उन्हें दस दिनों के भीतर सुलझाने का निर्देश संबंधित अधिकारियों को दिया गया. उपायुक्त ने साफ कहा कि लोगों की समस्या सुनना ही काफी नहीं, उन्हें हल करना ज़्यादा जरूरी है.
शिविर में बारिश से हुए नुकसान की भरपाई, दिव्यांग व विधवा पेंशन, घरेलू हिंसा, भूमि विवाद, धुमकुड़िया भवन निर्माण, दुकान पर अवैध कब्जा हटाने, ट्रांसजेंडर आश्रय गृह की आवश्यकता, म्यूटेशन, स्पोर्ट्स आर्म्स लाइसेंस और ऋण सेटलमेंट जैसे मामलों को लेकर आवेदक पहुंचे थे. कुछ लोगों ने भू-माफियाओं की शिकायत की, तो कुछ ने स्वास्थ्य सहायता और अनुकंपा नियुक्ति की मांग रखी.
जनता से सीधे संवाद और कार्रवाई की यही प्रक्रिया जन शिकायत निवारण दिवस को अलग बनाती है. उपायुक्त ने अधिकारियों को सख्त निर्देश दिए कि सभी आवेदनों पर संवेदनशीलता से काम हो और एक तय समयसीमा के भीतर हल किया जाए.
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