
हिमाचल: मंडी की सांसद कंगना रनोट एक बार फिर विवादों में फंस गई हैं. दिल्ली में दिए एक बयान में उन्होंने मंडी के बाढ़ पीड़ितों को भूकंप पीड़ित बता दिया. कंगना ने कहा कि मंडी में भारी भूकंप आया है और वह इस मुद्दे पर संबंधित मंत्रालयों से बात कर रही हैं. उनका यह बयान शनिवार को दिल्ली में एक एजेंसी को दिए गए इंटरव्यू के दौरान सामने आया.
दरअसल, मंडी जिले में किसी भी तरह का भूकंप नहीं आया था. 30 जून और 1 जुलाई को सराज क्षेत्र में बादल फटने की घटना हुई थी, जिससे कई लोग बेघर हो गए. कंगना के इस बयान को सोशल मीडिया पर तीखी आलोचना का सामना करना पड़ रहा है. लोगों का कहना है कि एक जनप्रतिनिधि को अपने क्षेत्र की परिस्थितियों की सही जानकारी होनी चाहिए.
बुंग रेलचैक गांव की एक युवती नीलम का वीडियो इन दिनों सोशल मीडिया पर वायरल है. वीडियो में नीलम सांसद कंगना पर गंभीर आरोप लगाती दिख रही हैं. उनका कहना है कि चुनाव के दौरान कंगना हर घर में वोट मांगने पहुंचीं, लेकिन आपदा के इस कठिन समय में उन्होंने एक बार भी पीड़ितों की सुध नहीं ली.
बादल फटने की इस आपदा को 19 दिन बीत चुके हैं, लेकिन अब भी कई गांवों में बिजली और पानी जैसी मूलभूत सुविधाएं बहाल नहीं हो सकी हैं. स्थानीय लोगों ने प्रशासन और सांसद से अधिक सक्रियता और संवेदनशीलता की अपेक्षा जताई है.
यह पहला मौका नहीं है जब कंगना रनोट क्षेत्रीय आपदा को लेकर दिए गए अपने बयानों की वजह से आलोचना का शिकार बनी हैं. इससे पहले भी बादल फटने की घटनाओं पर उनकी टिप्पणियाँ विवादों में रही हैं. स्थानीयों का कहना है कि सांसद होने के नाते उन्हें शब्दों की गंभीरता समझनी चाहिए और ज़मीनी हकीकत से जुड़कर समस्याओं के समाधान की पहल करनी चाहिए.
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