
जमशेदपुर: शनिवार को टाटानगर रेलवे स्टेशन पर पहुंची इस्पात एक्सप्रेस (22861) में आरपीएफ की उड़नदस्ता टीम को डी-1 और डी-2 कोच में कुछ नाबालिग संदिग्ध परिस्थितियों में यात्रा करते हुए मिले. उनके साथ मौजूद वयस्कों की गतिविधियों पर शक होने पर टीम ने तुरंत कार्रवाई की.
पूछताछ के दौरान सातों नाबालिग न तो यात्रा का उद्देश्य बता सके, न ही उनके पास कोई वैध दस्तावेज़ था. उन्होंने केवल इतना बताया कि वे तीन वयस्कों के साथ यात्रा कर रहे हैं. इसके बाद तीनों वयस्कों को हिरासत में लेकर गहन पूछताछ की गई.
तीन तस्कर गिरफ्तार, सभी पश्चिम बंगाल के निवासी
गिरफ्तार आरोपियों की पहचान इस प्रकार हुई:
- रसपन गनी (33 वर्ष), मालदा
- शेख बशीरुद्दीन (27 वर्ष), पूर्व मेदिनीपुर
- मसरूल आलम (21 वर्ष), मुर्शिदाबाद
तीनों ने स्वीकार किया कि वे श्रम आपूर्ति एजेंट हैं और इन नाबालिगों को बाल श्रमिक के रूप में ओडिशा के संबलपुर ले जाया जा रहा था.
आरपीएफ ने आरोपियों के पास से तीन मोबाइल फोन, 1300 रुपये नकद और कुल 61,300 रुपये की राशि बरामद की है. मामला ऑपरेशन AHTU (Anti Human Trafficking Unit) के तहत दर्ज कर टाटानगर रेल पुलिस को सौंपा गया है.
सभी नाबालिगों को विधिक प्रक्रिया के तहत बाल संरक्षण सेवा (चाइल्डलाइन) को सौंपा गया है. उन्हें उचित सुरक्षा और देखभाल दी जा रही है. इस मामले में आगे की जांच जारी है और गिरोह से जुड़े अन्य संदिग्धों की तलाश की जा रही है.
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