
पोटका: सामाजिक संस्था यूथ यूनिटी फॉर वॉलंटरी एक्शन (युवा) के तत्वावधान में अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस पोटका प्रखंड के तेंतला गांव में बड़े धूमधाम से मनाया गया. कार्यक्रम की शुरुआत हाता चौक से महिलाओं द्वारा निकाली गई पैदल रैली से हुई, जिसमें महिलाओं ने जेंडर आधारित असमानता और अन्य सामाजिक मुद्दों पर अपनी आवाज़ बुलंद की. रैली का मुख्य संदेश था “हर हाथ को काम दो, काम का पूरा और बराबर दाम दो”, इसके अलावा “बोलो बहना मुट्ठी तान, तभी सुनेंगे बहरे कान” और “आवाज दो हम एक हैं” जैसे नारों से महिलाएं एकजुट हुईं.
महिलाओं के संघर्ष और अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस का इतिहास
कार्यक्रम के दौरान युवा की प्रोजेक्ट कोऑर्डिनेटर अंजना देवगम ने इसका संचालन किया. इस अवसर पर वर्णाली चक्रवर्ती, युवा सचिव ने अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस मनाने के इतिहास पर प्रकाश डाला और कहा कि इस दिन की शुरुआत न्यूयॉर्क शहर में महिलाओं के एक आंदोलन से हुई थी. उस समय महिलाओं ने समान काम के लिए समान वेतन, बेहतर कामकाजी स्थितियां और मतदान के अधिकार की मांग की थी. इस आंदोलन का वैश्विक प्रभाव पड़ा और संयुक्त राष्ट्र ने 1977 में इसे आधिकारिक रूप से मनाने की घोषणा की थी. महिला अधिकारों को लेकर जागरूकता बढ़ाने और उनके संघर्षों की सराहना करने के लिए हर साल महिला दिवस मनाया जाता है. अब यह दिन महिलाओं की सामाजिक, राजनीतिक और आर्थिक उपलब्धियों को सम्मानित करने के रूप में मनाया जाता है.
विकलांग, ट्रांसजेंडर और महिलाओं के खिलाफ हिंसा पर चिंता
वर्णाली चक्रवर्ती ने बताया कि हालांकि महिला दिवस हर साल मनाया जाता है, लेकिन आज भी विकलांग, ट्रांसजेंडर और महिलाओं के खिलाफ हो रही हिंसा अदृश्य बनी हुई है. उन्होंने कहा, “कहा जाता है कि महिलाओं से घर बनता है, लेकिन उन्हें संपत्ति का अधिकार नहीं दिया जाता है. परिवार के भीतर ही उनका भेदभाव किया जाता है, उनकी पसंद, गतिशीलता, पहनावा और निर्णय लेने की स्वतंत्रता पर रोक लगाई जाती है.” उन्होंने जेंडर समानता की दिशा में तेजी से कार्रवाई करने की आवश्यकता पर जोर दिया और कहा कि पितृसत्तात्मक सोच समाज में गहरे रूप से फैली हुई है. इस बदलाव के लिए हम सभी को मिलकर प्रयास करना होगा और महिलाओं की भागीदारी को हर क्षेत्र में सुनिश्चित करना होगा.
महिलाओं को सशक्त बनाने के लिए प्रेरणा
पोडाडीहा पंचायत की वार्ड सदस्य पानो सरदार ने महिलाओं को शुभकामनाएं देते हुए कहा कि अब हमें सिर्फ घर से बाहर आकर ग्राम सभा और महिला सभा में अपनी भागीदारी को मजबूत करना है और अपने मुद्दों को उजागर करना है. इस दौरान विक्रम झा, शिखा सरदार, सपन मंडल, मुखिया देवी कुमारी, और मुखिया संघ सचिव अभिषेक सरदार ने भी महिलाओं को प्रेरित किया और उन्हें अपनी बात रखने के लिए उत्साहित किया.
महिलाओं के लिए विभिन्न प्रतियोगिताएं और जागरूकता कार्यक्रम
महिला दिवस के अवसर पर विभिन्न प्रतियोगिताओं का आयोजन किया गया, जिसमें दौड़ प्रतियोगिता, रस्सी खींचाई, फेस पेंटिंग, निर्णय लेने की क्षमता, राजनीतिक भागीदारी, सुरक्षित गर्भ समापन, बाल विवाह की रोकथाम जैसे मुद्दों पर चर्चा की गई. इसके अलावा लड़कियों द्वारा नुक्कड़ नाटक का आयोजन भी किया गया. इन प्रतियोगिताओं में विजेताओं को उपहार दिया गया और उन्हें सम्मानित किया गया. साथ ही उन महिलाओं, लड़कियों और लीडर लड़कों को सम्मानित किया गया जिन्होंने अपने-अपने क्षेत्र में चेंज मेकर के रूप में कार्य किया.
कार्यक्रम में भाग लेने वाली महिलाएं और युवा कार्यकर्ता
इस कार्यक्रम में पोडाडीहा, गांगड़ीह, चाकडी, टंगराईन, पोटका, चांदपुर, सानग्राम, तेंतला, कोवली और हल्दीपोखर पंचायतों की 265 से अधिक महिलाएं, लड़कियां और विकलांग लड़कियां शामिल हुईं. इस कार्यक्रम को सफल बनाने में यंग गर्ल्स लीडर श्रुति, गुड़िया प्रियंका, शिमती, अंजली, मोनिका, संजू और युवा के कार्यकर्ता चांदमणि सवैया, अवंती सरदार, रिला सरदार, किरण सरदार, हेमंती गोप, कापरा माझी, जयंती सरदार, रतन और शिवराम ने योगदान दिया.
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