
जमशेदपुर: ग्राम सभा बालीगुमा और गोड़गोड़ा के संयुक्त प्रयास से 18 मार्च 2025 को उपायुक्त कार्यालय के समक्ष जन आक्रोश रैली का आयोजन किया गया. इस रैली में बड़ी संख्या में आदिवासी समुदाय के लोग पारंपरिक हथियारों जैसे तीर धनुष और वाद्य यंत्रों के साथ पहुंचे और अपनी मांगों को लेकर जोरदार प्रदर्शन किया. रैली का मुख्य उद्देश्य मानगो नगर निगम कार्यालय और मानगो अंचल कार्यालय के प्रस्तावित निर्माण का विरोध था, जो ग्रामीणों के अनुसार उनकी पारंपरिक भूमि पर किया जा रहा है.
पारंपरिक भूमि पर आक्रोश
ग्रामीणों का कहना है कि यह भूमि बालीगुमा और गोड़गोड़ा के लिए पारंपरिक शमशान घाट (माड़घाटी) और संथालों के पवित्र धार्मिक स्थल “बिंदू चाँदान जाहेर गाढ़” के रूप में आदिकाल से उपयोग की जा रही है. इस भूमि पर पवित्रता के संकेत भी मौजूद हैं. बावजूद इसके, जिला प्रशासन ने खाता न०-727 और प्लॉट न०-799, 975 को बिना ग्रामसभा की अनुमति के मानगो अंचल और नगर निगम कार्यालय के निर्माण के लिए चिन्हित किया है, जो ग्रामीणों के लिए आपत्ति का विषय है.
संसदीय क्षेत्र की असंवैधानिक कार्रवाई
ग्रामीणों ने प्रशासन के इस कदम को जनविरोधी और असंवैधानिक बताया है. उनका कहना है कि वे किसी भी कीमत पर पांचवीं अनुसूची क्षेत्र में प्रशासन की मनमानी नहीं सहेंगे. ग्राम सभा की ओर से 31 जनवरी 2019 और 6 जनवरी 2024 को इस मुद्दे पर प्रशासन को लिखित विरोध भी भेजा गया था, लेकिन प्रशासन ने इसे नजरअंदाज करते हुए सीमांकन कार्य जारी रखा. इसके परिणामस्वरूप आदिवासी समुदाय की धार्मिक और सांस्कृतिक भावनाओं को ठेस पहुंचाई गई है.
धार्मिक स्थल का शुद्धिकरण आंदोलन
ग्रामीणों ने यह घोषणा की है कि 18 मार्च को वे शमशान भूमि और बिंदू चाँदान गाढ़ को शुद्धिकरण करेंगे. उनका मानना है कि प्रशासन ने इस पवित्र स्थल को अपवित्र किया है, और इसे शुद्धिकरण करने के लिए वे हरसंभव प्रयास करेंगे.
प्रमुख नेताओं की उपस्थिति
इस विरोध प्रदर्शन में सामाजिक कार्यकर्ता मदन मोहन सोरेन, इन्द्रो माहली, माझी बाबा रमेश मुर्मू, मोहन हांसदा, पप्पू सोरेन, सोकेन सोरेन, राखल सोरेन, नोगा सोरेन, सुफल सोरेन, सानिया सोरेन, फाल्गुनी सोरेन, माझी बाबा सोमाय सोरेन, सनातन टुडू, सुरेश टुडू, मानसिंह टुडू, राजेश सोरेन, राजू माझी, बादल धोरा, अनिल धोरा, दोन्दो धोरा, मेनका सोरेन, बसंती सोरेन, किरण टुडू, सरला टुडू, पूर्णिमा टुडू, घुरमनी टुडू आदि मौजूद थे.
इसे भी पढ़ें : Jamshedpur: पेयजल व्यवस्था पर सरयू राय ने उठाए सवाल, परियोजना की जिम्मेदारी नगर निगम को सौंपने का दिया प्रस्ताव